(अनवरत काल से चली आ रही साहित्य, कला, संस्कृति से जुड़ी तमाम विधाओं का बीमा भले ही न हुआ हो, पर सोशल मीडिया पर लिखी गई पोस्टों के बीमा के लिए बीमा कंपनियाँ तत्पर हैं। बाजार हर चीज को अपने दायरे में लेना चाहता है........ )
सोशल मीडिया पर किसी घटना, विषय या किसी व्यक्ति के बारे में खुलकर अपनी बात लिखने वालों को अब डरने के जरूरत नहीं है। क्योंकि उनके खिलाफ यदि कोई मानहानि का केस करता है तो इंश्योरेंस कंपनी उस व्यक्ति को कवर देगी। कंपनी केस साबित करने वाले व्यक्ति को क्लेम की पूरी रकम देगी। अभी भारत में सोशल मीडिया यूजर्स का इंश्योरेंस नहीं होता है।
देश की ऐसी पहली इंश्योरेंस पॉलिसी लाने पर निजी कंपनी बजाज आलियांज काम कर रही है। इसके बारे में कंपनी के मैनेजिंग डायरेक्टर तपन सिंहल ने जानकारी दी है। उनका कहना है, ‘यदि किसी व्यक्ति को सोशल मीडिया पर किसी पोस्ट या कमेंट की वजह से मुकदमा झेलना पड़े और मुआवजा देने की नौबत आए तो साइबर इंश्योरेंस इस लागत को कवर करेगा। हमारी कंपनी व्यक्तिगत साइबर कवर डिजाइन कर रही है। यह कॉर्पोरेट्स के लिए वर्तमान में मौजूद साइबर इंश्योरेंस कवर जैसा ही होगा। बीमा कराने वाले व्यक्ति को दिए जाने वाले साइबर कवर में उसकी साख, डाटा सेंध और किसी निजी, वित्तीय या संवेदनशील जानकारी चोरी हो जाने के मामले में कवर मिलेगा। इंटरनेट यूजर्स की बढ़ती संख्या और ऑनलाइन ट्रांजेक्शन के बढ़ते चलन की वजह से नए खतरे पैदा हुए हैं। सोशल मीडिया और ई-कॉमर्स वेबसाइट्स पर काफी मात्रा में निजी जानकारी मौजूद है। व्यक्तिगत साइबर इश्योरेंस पॉलिसी के तहत फिशिंग, आइडेंडिटी थेफ्ट, साइबर स्टाकिंग, शोषण और बैंक अकाउंट्स की हैकिंग को कवर किया जाएगा। अभी साइबर इश्योरेंस आईटी फर्मों, बैंकों, ई-कॉमर्स और फार्मस्यूूटिकल कंपनियों को बेचे जाते हैं। इसके तहत कॉर्पाेरेट्स को प्राइवेसी और डाटा ब्रीच, नेटवर्क सिक्योरिटी दावों और मीडिया देनदारी का कवर मिलता है।’ भारत में कॉर्पोरेट्स कंपनियों द्वारा साइबर कवर लेने का चलन पिछले कुछ सालों में बढ़ा है। देश में पिछले तीन साल से ऐसी पॉलिसी उपयोग हैं। इंडस्ट्री के अनुमान के मुताबिक, ऐसी करीब 500 पॉलिसीज ली गई हैं।
भारत में 1000 करोड़ रु. का साइबर बाजार
एकअनुमान के मुताबिक, भारत में साइबर बीमा का बाजार करीब 1,000 करोड़ रुपए का है। यह दायित्व बाजार के 7 से 10 फीसदी हिस्सों को कवर करता है। देश में इंटरनेट यूजर्स की संख्या तेजी से बढ़ रही है। इसमें सबसे ज्यादा नए इंटरनेट यूजर्स का झुकाव सोशल मीडिया की तरफ होता है। अमेरिका के बाद भारत में इंटरनेट यूजर्स के लिहाज से दूसरा सबसे बड़ा देश है। कुछ साालों में भारत पहले स्थान पर होगा।
-कृष्ण कुमार यादव @ शब्द-सृजन की ओर
Krishna Kumar yadav @ http://kkyadav.blogspot.in/